कलियुग के बच्चे

  सतयुग ने पूछा कलियुग से कहो,क्या सोचते हो तुम्हारे बच्चे कैसे होंगे?वो इठलाता हुआ बोला मेरे बच्चे,तुम्हारे बच्चों की तरह भोले नहीं बड़े शातिर होंगे।बचपन में दूध नहीं चिप्स और कुरकुरे के लिए रोयेंगे,जवानी में पानी नहीं शराब से मुंह धोएंगे।मेरे बच्चे तुम्हारे बच्चों की तरह गीता और कुरान में नहीं,face book और whats app में विश्वास करेंगे।मेरे बच्चे दादा दादी की कहानी नहीं शीला और मल्लिका का डांस देख सोयेंगे।मेरे बच्चे तुम्हारे बच्चों की तरह सच्चाई के आदर्श में दुःख सहकर किसी की सेवा नहीं करेंगे,बल्कि लोगों का गला काटकर अपनी जेब भरेंगे,जिस थाली में खाएंगे उसी में छेद करेंगे।वो शादी करके घर में नहीं,लिव इन रिलेशन से होटल में रहेंगे और पैसे के लिए तो माँ बाप की हत्या से भी परहेज नहीं करेंगे।और सुनो सतयुग भैया तुम्हारे बच्चे ज्ञान पाने के लिए जी जान लगा देंगे,और मेरे बच्चे चोरी डकैती,रिश्वतखोरी से सबकुछ हासिल कर ऐश करेंगे।क्योंकि मेरे बच्चे तो मेरे हैं-----------साभार-शंकर लाल,वैज्ञानिक अधिकारी इंदौर (मध्यप्रदेश)

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